BIG BREAKING: गोवा के सीएम मनोहर पर्रिकर का निधन, राष्ट्रपति ने ट्वीट कर दी जानकारी।

BIG BREAKING:गोवा के सीएम और देश के पूर्व रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर का निधन हो गया है। 63 वर्षीय पर्रिकर लंबे समय से कैंसर से गंभीर तौर पर जूझ रहे थे। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने ट्वीट कर पर्रिकर को श्रद्धांजलि देते हुए लिखा कि गोवा और देश के लिए उनके योगदान को भुलाया नहीं जा सकता। सोमवार को सुबह 11 बजे उन्हें श्रद्धांजलि देने के लिए केंद्रीय कैबिनेट की बैठक बुलाई गई है।
कैंसर से गंभीर तौर पर जूझने के बावजूद वह बीते कई महीनों से सीएम के तौर पर अपनी जिम्मेदारियों का निर्वाह कर रहे थे। नाक में ड्रिप लगाए उनकी कई तस्वीरें भी सोशल मीडिया पर वायरल हुई थीं। गोवा में बीजेपी और राजनीति के एक मजबूत स्तंभ रहे मनोहर पर्रिकर आईआईटी से पढ़े थे। देश के पढ़े-लिखे और सादगी से जीवन जीने वाले नेता के तौर पर उनकी खास पहचान थी।
गोवा के मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर का 63 वर्ष की उम्र में शनिवार को निधन हो गया. पर्रिकर लंबे समय से बीमार चल रहे थे. वह पैनक्रियाटिक कैंसर से जूझ रहे थे. शनिवार दिन में खबर आई थी कि उनकी हालत बेहद गंभीर हैं, हालांकि मुख्यमंत्री कार्यालय ने ट्विटर पर जानकारी दी थी कि पर्रिकर पूरी तरह स्वस्थ हैं.पर्रिकर को 31 जनवरी को अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) में भर्ती कराया गया था. हाल ही में बीमार मुख्यमंत्री ने 3 मार्च को गोवा मेडिकल कॉलेज और अस्पताल (जीएमसीएच) में चेक-अप कराया था. फरवरी में पर्रिकर का जीएमसीएच में एक ऑपरेशन भी हुआ था.कुछ दिनों पहले गोवा विधानसभा के डिप्टी स्पीकर और बीजेपी विधायक माइकल लोबो ने बयान दिया था कि मनोहर पर्रिकर बहुत बीमार हैं. लोगों को समझना होगा कि उनका स्वास्थ्य ठीक नहीं है. लोबो ने कहा कि पर्रिकर को जो बीमारी हुई है, उसका कोई इलाज नहीं है. भगवान की कृपा से वह अब भी जीवित हैं. भगवान ने उन्हें काम करने का आशीर्वाद दिया है.बता दें कि इस साल 30 जनवरी को मनोहर पर्रिकर ने नाक में ट्यूब लगाकार गोवा का बजट पेश किया था. इस दौरान उन्होंने कहा था की, ‘आज मैं एक बार फिर वादा करता हूं कि मैं पूरी ईमानदारी, निष्ठा और समर्पण के साथ और अपनी अंतिम सांस तक गोवा की सेवा करूंगा. मुझमें काफी जोश है और मैं पूरी तरह होश में हूं.’बता दें कि देश के पूर्व रक्षामंत्री और गोवा के वर्तमान सीएम मनोहर पर्रिकर कैंसर से पीड़ित थे. लंबे वक्त से उनका इलाज चल रहा था.
नई दिल्ली: एक साल से ज्यादा समय से कैंसर से जूझ रहे गोवा के मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर का लंबी बीमारी के बाद रविवार 17 मार्च 2019 को निधन हो गया. राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने ट्वीट कर उनके निधन की जानकारी दी. इससे कुछ समय पहले ही सीएमओ ऑफिस ने ट्वीट कर बताया था कि उनकी हालत गंभीर थी. डॉक्टर अपनी ओर से इलाज की पूरी कोशिश कर रहे थे. उनके निधन की खबर सुनते ही उनके घर के बाहर लोगों का हुजूम लग गया है.
सादगी और समर्पण की मिसाल थे पर्रिकर
मनोहर पर्रिकर अपनी सादगी के लिए भी जाने जाते थे. सोशल मीडिया और तकनीकी के नए दौर में दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने ‘आम आदमी’ की तरह लोगों के बीच खूब सुर्खियां बटोरी थीं. लेकिन, अगर वास्तव में सादगी की कोई मिसाल है तो वह थे गोवा के सीएम और पूर्व केंद्रीय रक्षा मंत्री रहे मनोहर पर्रिकर. दरअसल, हम ऐसा इसलिए कह सकते हैं क्योंकि मनोहर पर्रिकर ने गोवा का सीएम रहते हुए कई साल तक मुख्यमंत्री आवास का इस्तेमाल नहीं किया. वह खुद के घर में ही रहते थे. पर्रिकर की छवि लोगों के बीच एक ईमानदार नेता के रूप में आज भी बनी हुई है. वह वर्ष 2000 में गोवा के सीएम बने थे.
बिना सुरक्षा के आम लोगों की तरह का जीवन
मनोहर पर्रिकर के साधारण व्यक्तित्व का हर कोई कायल था. गोवा के मुख्यमंत्री रहते हुए पर्रिकर कई बार विधानसभा जाते समय सरकारी गाड़ी को छोड़कर स्कूटर का इस्तेमाल करते थे. इसके साथ ही वह बिना सुरक्षा के किसी भी टी स्टॉल पर खड़े होकर चाय पीते भी नजर आ जाते थे. पर्रिकर की यह आदतें गोवा के लोगों के लिए एक आम बात थी. वहीं, सीएम और रक्षा मंत्री रहते हुए उनकी छवि एक बेदाग नेता की रही. पर्रिकर की इसी बेदाग छवि के कारण ही पीएम नरेंद्र मोदी ने उन्हें रक्षा मंत्री बनाया था. पर्रिकर नवंबर 2014 से 13 मार्च 2017 तक केंद्रीय रक्षामंत्री रहे थे.
बेटे की शादी में भी साधारण कपड़ों में आए नजर
मनोहर पर्रिकर अपनी साधारण वेशभूषा के लिए भी जाने जाते थे. पर्रिकर आमतौर पर शर्ट-पैंट में नजर आते थे. जब तक किसी बड़ी ऑफिशियल मीटिंग में न जाना हो वह साधारण कपड़े पहनना ही पसंद करते थे. अपने बेटे की शादी में में पर्रिकर हाफ शर्ट, साधारण पैंट और सैंडिल पहने लोगों की आवभगत कर रहे थे. वहीं, मनोहर पर्रिकर को सोलह से अठारह घंटे काम करने की आदत थी.
गोवा के पूर्व पर्यटन मंत्री सलदन्हा की मौत पर फूट-फूटकर रोए थे पर्रिकर
बेहद अनुशासित और सख्त प्रशासक माने जाने वाले मनोहर पर्रिकर को मार्च 2012 में पर्यटन मंत्री मातनही सलदन्हा के निधन पर फूट-फूट कर रोते देखा गया था. साल 2005 में जब उनपर कुछ विधायकों की खरीद-फरोख्त का आरोप लगा, तब सलदन्हा ही उनके साथ खड़े रहे थे.
इकॉनमी क्लास में ही करते थे सफर
पर्रिकर विमान में हमेशा ही इकॉनमी क्लास में यात्रा करते थे. उन्हें आम लोगों की तरह अपना सामान लिए यात्रियों की लाइन में खड़े देखा जा सकता था. वह मोबाइल और टेलीफोन के बिल का भुगतान अपनी जेब से करते थए. उन्हें पब्लिक ट्रांसपोर्ट का बेझिझक इस्तेमाल करते देखा जाता था. पर्रिकर को नजदीक से जानने वाले लोग उनकी इन आदतों को बहुत अच्छी तरह से समझते थे.