सीहोर : जन सामान्य को कोरोना संक्रमण की घातकता से अवगत कराएं बचाव की सावधानियां मजबूरी नहीं, जान बचाने के लिए जरूरी : मुख्यमंत्री श्री चौहान, मुख्यमंत्री ने की कोरोना प्रबंधन की समीक्षा

जन सामान्य को कोरोना संक्रमण की घातकता से अवगत कराएं
बचाव की सावधानियां मजबूरी नहीं, जान बचाने के लिए जरूरी : मुख्यमंत्री श्री चौहान, मुख्यमंत्री ने की कोरोना प्रबंधन की समीक्षा
सीहोर 21 सितंबर,2020
मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि वैश्विक स्तर से प्रदेश तक कोरोना महामारी की गंभीर होती स्थिति के कारण सजगता और सतर्कता जरूरी है। कोरोना संक्रमण की घातकता को समझना और उससे डरना आवश्यक है। तभी हर व्यक्ति कोरोना
से बचाव के लिए आवश्यक सावधानी का गंभीरता से पालन करेगा। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि राज्य सरकार कोरोना नियंत्रण और प्रबंधन के लिए हरसंभव प्रयास कर रही है। चिकित्सक और पैरामेडिकल स्टॉफ भी प्राण-प्रण से लगे हैं। अभी कोरोना की दवा उपलब्ध नहीं है, इसमें समय लगना संभावित है। अत: समाज को इस दिशा में और अधिक गंभीर होना होगा। सामाजिक, धार्मिक, व्यापारिक संगठनों, स्वयंसेवी संस्थाओं को सक्रिय होकर जन-जन को कोरोना से बचाव की सावधानियां अपनाने के लिए प्रेरित करना होगा। यह वातावरण बनाना होगा कि यह मजबूरी नहीं अपने बचाव और सुरक्षा के लिए जरूरी है।
सबकी सहमति से बनेगी दीर्घकालिक रणनीति– मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि कोरोना की गंभीर होती स्थिति और सामाजिक व आर्थिक गतिविधियां लंबे समय तक बंद नहीं कर पाने की बाध्यता को देखते हुए दीर्घकालीक रणनीति बनाना आवश्यक है। उन्होंने मुख्य सचिव श्री इकबाल सिंह बैंस को उप समूह बनाकर इस पर कार्य करने के निर्देश दिए। श्री चौहान ने कहा कि सर्वसम्मति से रोडमैप विकसित किया जाए। इसके लिए धर्म गुरूओं, सामाजिक, राजनैतिक, व्यापारिक संगठनों, स्वयंसेवी संस्थाओं से विचार-विमर्श कर कार्ययोजना बनाई जाए। कोरोना प्रबंधन के लिए शासकीय सहित निजी अस्पतालों के प्रबंधन, चिकित्सा महाविद्यालयों, विषय-विशेषज्ञों से संवाद कर रणनीति विकसित करने के निर्देश भी दिए गए। उन्होंने कहा कि आवश्यकता होने पर जिलों की विशेष परिस्थितियों को देखते हुए डिस्ट्रिक्ट स्पैसिफिक रणनीति विकसित की जाए। बैठक में जानकारी दी गई कि प्रदेश में कोरोना रिकवरी रेट 75 प्रतिशत है, पर एक्टिव केसेस की संख्या बढ़ रही है। मुख्यमंत्री ने इंदौर, भोपाल, ग्वालियर, जबलपुर, उज्जैन आदि जिलों की जानकारी लेते हुए सजगता एवं सावधानियां बरतने के निर्देश दिये। अस्पतालों में बिस्तरों की संख्या व प्रबंधन, संचालित फीवर क्लीनिक, जिला स्तरीय कमाण्ड एण्ड कंट्रोल सेंटर के कार्यों की समीक्षा भी की गई।